Breaking News
:

MP News : मां नर्मदा का रौद्र रूप, इंदिरा सागर और ओंकारेश्वर बांध लबालब, 19 गेट खुले, निचले इलाकों में हाई अलर्ट

मां नर्मदा का उग्र रूप, ओंकारेश्वर बांध से पानी छोड़ा गया

प्रशासन ने खंडवा, खरगोन, धार, बड़वानी और अलीराजपुर जिलों में हाई अलर्ट जारी कर दिया है।

MP News : खंडवा। मध्य भारत की जीवन रेखा मानी जाने वाली मां नर्मदा इन दिनों अपने उग्र रूप में है। खंडवा जिले के इंदिरा सागर और ओंकारेश्वर बांध अपनी पूर्ण क्षमता तक भर चुके हैं, जिसके कारण बांधों के गेट खोलकर पानी छोड़ा जा रहा है। नर्मदा का बढ़ता जलस्तर खतरे के निशान के करीब पहुंच गया है, जिसके चलते प्रशासन ने खंडवा, खरगोन, धार, बड़वानी और अलीराजपुर जिलों में हाई अलर्ट जारी कर दिया है।


बांधों की स्थिति और बिजली उत्पादन-

ओंकारेश्वर बांध की क्षमता 196 मीटर है और वर्तमान में इसका जलस्तर 195.5 मीटर तक पहुंच चुका है। बांध की सभी 8 टरबाइनों से 520 मेगावाट बिजली का उत्पादन हो रहा है। बांध के 23 में से 19 गेट खोले गए हैं, जिनसे 12,595 क्यूमेक्स पानी प्रति सेकंड नर्मदा नदी में छोड़ा जा रहा है। वहीं इंदिरा सागर बांध भी अपनी अधिकतम क्षमता पर है और इसके 12 गेट खोलकर 10,744 क्यूमेक्स पानी छोड़ा जा रहा है। दोनों बांधों से पानी छोड़ने के कारण नर्मदा का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है।


खतरे के निशान के करीब नर्मदा-

केंद्रीय जल आयोग के अनुसार, मोरटक्का में नर्मदा का खतरे का निशान 163.980 मीटर है, जबकि वर्तमान जलस्तर 163.300 मीटर है, जो खतरे के स्तर से मात्र एक फीट नीचे है। इंदौर-खंडवा-इच्छापुर राजमार्ग पर स्थित मोरटक्का पुल पर अभी यातायात सुचारू है, लेकिन जलस्तर 164.500 मीटर को पार करने पर इसे बंद किया जा सकता है। प्रशासन इस स्थिति पर कड़ी नजर रखे हुए है।


भारी बारिश से बढ़ा जल प्रवाह-

अमरकंटक, डिंडोरी, मंडला, हरदा, नर्मदापुरम और हंडिया जैसे नर्मदा के ऊपरी क्षेत्रों में हो रही भारी बारिश के कारण बांधों में लगातार पानी की आवक हो रही है। इस जल प्रवाह को नियंत्रित करने के लिए बांध प्रबंधन टरबाइनों के जरिए बिजली उत्पादन के साथ-साथ गेट खोलकर पानी छोड़ रहा है, ताकि बाढ़ जैसी स्थिति से बचा जा सके।


घाटों पर सख्ती, नाव संचालन पर रोक-

नर्मदा के उफान को देखते हुए ओंकारेश्वर के प्रमुख घाटों—कोटितीर्थ, चक्रवर्ती, ब्रह्मपुरी, अभयघाट, और गोमुखघाट—पर स्नान और आवागमन पर पूरी तरह प्रतिबंध लगा दिया गया है। इन घाटों पर बैरिकेटिंग की गई है, और SDRF, NDRF, होमगार्ड व स्थानीय पुलिस तैनात हैं। नाव संचालन पर भी रोक लगाई गई है ताकि कोई दुर्घटना न हो। खंडवा कलेक्टर ऋषभ गुप्ता और एसपी मनोज राय ने लोगों से नदी किनारे न जाने की अपील की है।


मुख्यमंत्री की निगरानी, प्रशासन सतर्क-

मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव स्वयं नर्मदा की स्थिति पर नजर रखे हुए हैं। खंडवा कलेक्टर ने खरगोन, धार, बड़वानी और अलीराजपुर के कलेक्टरों को अलर्ट जारी किया है। नर्मदा के निचले हिस्सों में बसे गांवों और शहरों को सतर्क रहने के निर्देश दिए गए हैं। प्रशासन ने आपदा प्रबंधन दलों को तैयार रहने और निचली बस्तियों में रहने वालों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट करने की व्यवस्था शुरू कर दी है।

Popular post

Live News

Latest post

You may also like

Subscribe Here

Enter your email address to subscribe to this website and receive notifications of new posts by email.

Join Us