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Cyber Fraud : KYC अपडेट के नाम पर 26 लाख की ठगी करने वाले अंतरराज्यीय गिरोह का भंडाफोड़, ओडिशा से 3 ठग गिरफ्तार

Cyber Fraud

इस कार्रवाई में पीड़ित जॉनसन एक्का के खाते से 26 लाख 74 हजार रुपये की ठगी का खुलासा हुआ है।

Cyber Fraud : बिलासपुर। जिले में रेंज साइबर थाना पुलिस ने एक बड़े साइबर ठगी गिरोह का पर्दाफाश करते हुए तीन अंतरराज्यीय ठगों को गिरफ्तार किया है। यह गिरोह फर्जी सिम कार्ड और दस्तावेजों का उपयोग कर बैंक अधिकारी बनकर लोगों से KYC अपडेट के नाम पर ओटीपी हासिल करता था और उनके खातों से लाखों रुपये ठग लेता था। पुलिस ने इन शातिर ठगों को ओडिशा के नक्सल प्रभावित क्षेत्र दीपापल्ली से धर दबोचा। इस कार्रवाई में पीड़ित जॉनसन एक्का के खाते से 26 लाख 74 हजार रुपये की ठगी का खुलासा हुआ है।


ठगी का खुलासा और पुलिस कार्रवाई-

सकरी थाना क्षेत्र के निवासी जॉनसन एक्का ने पुलिस में शिकायत दर्ज की थी कि एक अज्ञात व्यक्ति ने उन्हें फोन कर खुद को बैंक अधिकारी बताया और KYC अपडेट के लिए ओटीपी मांगा। ओटीपी साझा करने के बाद उनके खाते से लोन लेकर 26,74,701 रुपये की ठगी की गई। शिकायत के आधार पर थाना सकरी में अपराध क्रमांक 936/2024, धारा 61(2), 317(5), 318(4), 111(4), 323 बीएनएस के तहत मामला दर्ज किया गया। जांच के दौरान पुलिस ने साइबर पोर्टल और बैंक स्टेटमेंट का विश्लेषण किया, जिससे फर्जी सिम कार्ड और बैंक खातों के उपयोग का पता चला।


बिलासपुर रेंज साइबर थाना पुलिस ने वरिष्ठ अधिकारियों के मार्गदर्शन में एक विशेष टीम गठित की, जो ओडिशा के लिए रवाना हुई। ओडिशा के उलूंडा थाना पुलिस की सहायता से दीपापल्ली में छापेमारी की गई। इस दौरान मुख्य आरोपी कृष्णा लूहा 42 वर्ष को भागने की कोशिश करते हुए पकड़ा गया। उसकी निशानदेही पर अन्य दो आरोपियों, गुलेख कुम्हार 40 वर्ष और पंकज कुमार खैतान 44 वर्ष को भी गिरफ्तार कर लिया गया। पूछताछ में आरोपियों ने अपराध स्वीकार किया और बताया कि वे फर्जी दस्तावेजों के जरिए बैंक खाते खोलते थे और ठगी की रकम को इन खातों में ट्रांसफर कर निकाल लेते थे। गिरफ्तारी के बाद तीनों को ट्रांजिट रिमांड पर बिलासपुर लाया गया और मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश कर न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया।


पुलिस की जनता से अपील-

बिलासपुर पुलिस ने जनता से अपील की है कि वे अनजान कॉल्स, लिंक, या एप्लिकेशन के जरिए अपनी बैंकिंग जानकारी साझा न करें। साइबर ठगी से बचने के लिए सतर्क रहें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की सूचना तुरंत 1930 हेल्पलाइन या cybercrime.gov.in पर दें। पुलिस ने यह भी कहा कि इस तरह के अपराधों के खिलाफ उनकी जीरो टॉलरेंस नीति है और जांच में अन्य संदिग्धों की तलाश जारी है।

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